राधा कृष्ण
जब आयी बरसाने की गोरी
सबकी नज़रें बरसाने पे बरसी
चंद्रमुखी राधा चंद्रमा आधी
नील मोती नैन सब पे भारी
वह राधा ही है जो मुस्काये जाये
पिया के प्रीत से नैना मिलाये जाये
मधुबन में राधा है
कृष्ण राधा को प्यारा है
अगले जनम भी मिलना मुझे
तेरी बांसुरी में जग सारा है
आधी आधी है राधा बिन पिया के
पूजे जो कोई कान्हा हम दिल उसे दे
ऐसा प्रेम दीप जलाये जो मधुबन को श्रृंगार दे
वोह राधा ही है जो मुस्काये जाये
पिया के प्रीत से नैना मिलाये जाये